एक कप कॉफी पीना चाहता हूँ
दिन भर तो मरता रहता हूँ
जीने की यहां, फुर्सत कहां
बस पांच मिनट जीना चाहता हूँ
एक कप कोफी पीना चाहता हूँ..!
रेस तो यहां दिल और जिन्दगी का है
न कोई जीत पाया है न कोई हारा है
और ये गोल धुमाने वाली दुनिया
न मेरा है न तुम्हारा है
कोई मिले तो सही
इन सब को बनाने वाले का
पता पुछना चाहता हूँ
दो मिनट साथ बैठकर
एक कप कॉफी पीना चाहता हूँ..!!
कॉफी पीने से मन ताजा लगता है
बोझ दिमाग का आधा लगता है
शरीर में फुर्ती हो तो
सब कुछ अच्छा लगता है
वैसे तो मैं बहुत कुछ करना चाहता हूँ
फिलहाल थका हूँ !
एक कप कॉफी पीना चाहता हूँ..!!!
Subodh Rajak
SUBODH HINDI COMPOSITIONS
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