Showing posts with label barsaat. Show all posts
Showing posts with label barsaat. Show all posts

Sunday, July 5, 2020

Hindi poem - phool / फूल (Flower)


Hindi poem



फूल 

आए दिन बरसात में 
खिल जाते हैं फूल 
मेरे आंगन में ..

होता है श्रृंगार फूलों की 
खुशबू जाती है 
दूर गगन में ..
आए दिन बरसात में 
खिल जाते हैं फूल 
मेरे आंगन में  ..!!

कभी कभी लड़ जाते हैं 
भौंरे तितली आपस में 
कुछ तो बात है 
फूल की सुंदरता में 

ऐसा फूल खिला नहीं 
किसी चमन में 
आए दिन बरसात में 
खिल जाते हैं फूल 
मेरे आंगन में  ..!!!






Subodh Rajak 
SUBODH HINDI COMPOSITIONS 

हमारी रचनाएं पढ़ने के लिए नीचे दिए लिंक में जा कर मेरे ब्लोग में पढ़ सकते हैं! 

आपके आने से मेरा मनोबल बढ़ा है! पुनः पधारे! धन्यवाद!! 

Hindi poem - Aatma / आत्मा

  आत्मा   =========== रूकी हवा में  गहरी खामोशी  काली रात में  टहल रहा है कोई  पैरों के निशां नहीं है उसके हवा रोशनी वस्तु चींजे  सब पार हो ...